Kaash Main Bada Na Hota

Empty Swings
“काश मैं कभी बड़ा ना होता,
तो शायद बचपन की खुशियाँ रद्दी में ना जाती…”

बताया था किसी ने की उम्र के इस पड़ाव में
जेब में सिक्के नही होते,
खुशियों की कीमत हो जाती है इतनी की
वे ठेलों या गली-कूचों में नही बीकते,
कभी हथेली से भी बड़े दिखते थे जो सिक्के,
अब वे उंगलियों में गुम हो जाते हैं
पर एक-एक कर गुल्लक में नही गिरते,

अब कोई मेरी पेन्सिल नही चुराता,
नोटबुक के आँखरी पन्ने को कोई खराब नही करता,
शाम को नही निकलता मैं खेलने,
की ज़िंदगी की छुपन-चुपाई में छिपे बैठे हैं
सब यहीं कहीं,
चले जाते हैं कुट्टी करके जो यार अब,
बटी करने वापिस नही आते,



रात में जो कभी नींद आ जाती है फर्श पर,
तो फर्श पर ही सुबह होती है,
की कंधे पर रखकर
बिस्तर पर सुलाने कोई नही आता,
जो हाथ संवारते थे बाल मेरे,
आज उन हाथ में मेरा सर नही आता,
अच्छा भी है की कोई कान नही खींचता,
कोई मुर्गा नही बनाता,
पर जो अब ग़लती करता हूँ मैं,
कोई समझाकर ग़लती ठीक करने की मोहल्लत नही देता,

घर की चीज़ें खिलोना नही बनती,
शब्द गीतों में तब्दील नही होते,
नाचने के लिए मौकों की इज्जाज़त लेनी पड़ती है,
और दीवारों पर रंग नही चढ़ता,
कभी सोचता हूँ की काश मैं कभी बड़ा ना होता,
तो शायद बचपन की खुशियाँ रद्दी में ना जाती…

-N2S

Standing In A Queue

People standing in queue
“Our whole life passed standing in a queue…”

Perhaps this must have happened with everyone and you,
Our whole life passed standing in a queue,
Now, this has become a habit,
Don’t fight, we are born with it,
Standing in a line for the school assembly,
We spend our whole education to high school from nursery,
We finally come out and get lined before the college gate,
Holding the admission forms in the horde of thousands for the same,
Standing in the line of the Delhi Metro,
Buses, railway, and flights, it is the same wherever you go,

Read another poem on Sad Reality of Life: Revenge of Karma



Damn its life! we have to even fight for love,
There are dozens, standing in a line for a girl,
you are nobody where everybody is somebody,
in the populations of millions, you are no better than a doggy,
you get shot and nobody sees you again,
no one talks about you or remembers your name,
the line grows even you live or die,
there is no shortcut you can try,
so don’t fight, you are born with it,
like others soon it will become your habit,
Perhaps this must have happened with me and you,
Our whole life passed standing in a queue…

-N2S